* * * * * जब भी घर पर मेहमान आयें, उन्हें ग्रीन टी पिलायें- रिच लगते हैं. दूध का खर्चा बचता है साथ में बिस्कुट नही देने पड़ते. ...
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जब भी घर पर मेहमान आयें, उन्हें ग्रीन टी पिलायें-
- रिच लगते हैं.
- दूध का खर्चा बचता है
- साथ में बिस्कुट नही देने पड़ते.
- दुबारा नही मांगता .
- हो सकता है दूबारा आये भी नही.
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पहले जब मेहमान घर आते थे तो….
…और सब ठीक ठाक है?
…परिवार में सब कुशल मंगल हैं?
…काम-धाम कैसा चल रहा है?
…बच्चे कैसे हैं और उनकी पढाई कैसी चल रही है?
… मम्मी-पापा या किसी बुजुर्ग का नाम लेकर, वो कैसे हैं?
आजकल के मेहमान
…और सब ठीक ठाक है?
…एंड्राइड मोबाइल का चार्जर है क्या?
और फिर मोबाइल चार्जिंग पर लगा कर
हैल्लो, हां अब बताओ….?(फ़ोन पर)
हां-हूँ, हाँ-हूँ… बस चल रहा हूँ थोड़ी देर में.
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एक मित्र अपने दुसरे मित्र से: और ठीक ठाक है?
-घर में सब ठीक है?
-पढाई कैसी चल रही है?
दूसरा मित्र: मित्र है तो मित्र की तरह रहा कर ये रिश्तेदारों वाली हरकतें मत किया कर.
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पहला मित्र: तुम रिजल्ट देखकर आओ तो मैं घर पर सबके साथ ही होऊंगा, अगर मैं एक पेपर में फेल हुआ होऊं तो बोलना, ‘बजरंग बली की जय’, दो में फेल हो जाऊं तो बोलना, ‘सीता राम की जय’. और अगर तीन पेपरों में फेल हो जाऊं तो कहना, ब्रह्मा-विष्णु-महेश की जय.
रिजल्ट देखकर मित्र: ‘बोलो सांचे दरबार की जय’.
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